स्टॉक मार्केट में पटेल रिटेल की मजबूत एंट्री, लिस्टिंग के बाद बना बिकवाली का दबाव
पटेल रिटेल का 242.76 करोड़ रुपये का आईपीओ 19 से 21 अगस्त के बीच सब्सक्रिप्शन के लिए खुला था। इस आईपीओ को निवेशकों की ओर से जबरदस्त रिस्पॉन्स मिला था, जिसके कारण ये ओवरऑल 95.69 गुना सब्सक्राइब हुआ था। इनमें क्वालिफाइड इंस्टीट्यूशनल बायर्स (क्यूआईबी) के लिए रिजर्व पोर्शन 272.14 गुना सब्सक्राइब हुआ था। इसी तरह नॉन इंस्टीट्यूशनल इन्वेस्टर्स (एनआईआई) के लिए रिजर्व पोर्शन में 108.11 गुना सब्सक्रिप्शन आया था। इसके अलावा रिटेल इन्वेस्टर्स के लिए रिजर्व पोर्शन 42.55 गुना तथा एंप्लॉयीज के लिए रिजर्व पोर्शन 25.29 गुना सब्सक्राइब हुआ था। इस आईपीओ के तहत 217.21 करोड़ रुपये के नए शेयर जारी किए गए हैं। इसके अलावा 10 रुपये फेस वैल्यू वाले 10.02 लाख शेयर ऑफर फॉर सेल विंडो के जरिये बेचे गए हैं। आईपीओ के जरिये नए शेयरों की बिक्री से जुटाए गए पैसे का इस्तेमाल कंपनी अपने पुराने कर्ज को कम करने, वर्किंग कैपिटल की जरूरतों को पूरा करने और आम कॉरपोरेट उद्देश्यों में करेगी।
कंपनी की वित्तीय स्थिति की बात करें तो प्रॉस्पेक्टस में किए गए दावे के मुताबिक इसकी वित्तीय सेहत लगातार मजबूत हुई है। वित्त वर्ष 2022-23 में कंपनी को 16.38 करोड़ रुपये का शुद्ध लाभ हुआ था, जो अगले वित्त वर्ष 2023-24 में बढ़ कर 22.53 करोड़ रुपये और 2024-25 में उछल कर 25.28 करोड़ रुपये के स्तर पर पहुंच गया। इस दौरान कंपनी के राजस्व में उतार चढ़ाव होता रहा। वित्त वर्ष 2022-23 में इसे 1,019.80 करोड़ रुपये, वित्त वर्ष 2023-24 में 817.71 करोड़ रुपये और वित्त वर्ष 2024-25 में 825.99 करोड़ रुपये का राजस्व प्राप्त हुआ। कर्ज की बात करें, तो इसमें भी उतार चढ़ाव होता रहा है। वित्त वर्ष 2022-23 के आखिरी में कंपनी पर 182.81 करोड़ रुपये का कर्ज था, जो वित्त वर्ष 2023-24 के आखिरी में बढ़कर 185.75 करोड़ रुपये के स्तर पर पहुंच गया, लेकिन वित्त वर्ष 2024-25 के आखिरी में गिर कर 180.54 करोड़ रुपये के स्तर पर आ गया।