जबलपुरः मंत्री परमार की अध्यक्षता में तकनीकी शिक्षण संस्थाओं की संभागीय बैठक संपन्न
मंत्री परमार ने कहा कि महाविद्यालय में जितने भी पुरानी ऑडिट आपत्तियां व सीएम हेल्पलाईन हैं, उनका निराकरण करायें। प्रयोगशालाओं में पर्याप्त संसाधन सुनिश्चित करें, इंटर्नशिप प्लान को प्रभावी करें, प्लेसमेंट की दिशा में अच्छा काम हो ताकि युवा बेरोजगार न रहें। उन्होंने सभी पॉलीटेक्निक कॉलेजों की शिक्षा व्यवस्था, संसाधन, प्लेसमेंट की समीक्षा की। उन्होंने मुख्य रूप से कहा कि सभी कॉलेज अपने कैंपस को हरियाली युक्त वातावरण बनायें, इसके लिए परिसर में रिक्त जगह पर वृक्षारोपण करें।
पद पूर्ति के संबंध में उन्होंने विभाग को प्रस्ताव भेजने के निर्देश दिये। साथ ही कहा कि महाविद्यालय भवनों की साफ-सफाई, पुताई करायें और अच्छा वातावरण निर्मित करें, जहां मरम्मत की आवश्यकता है वहां मरम्मत करायें। छात्रावास भवनों व शौचालयों की स्थिति को भी ठीक करायें। उन्होंने कहा कि जिस ब्रांच में विद्यार्थियों द्वारा एडमीशन नहीं लिया जा रहा है उनके कारणों का सर्वे करायें और विभाग को सुझाव भेजें। लाइब्रेरी में पाठ्यक्रम की पुस्तकों के अलावा संदर्भ पुस्तकें भी रखें, जिससे भारतीय ज्ञान परम्परा को जानने का अवसर मिले।
मंत्री परमार ने कहा कि भारतीय ज्ञान परम्परा एक समृद्ध भंडार है, भारत के आर्कीटेक्ट बालबाहू ने बीजिंग शहर का डिजाईन किया था। भारतीयों ने दुनिया को गणना पद्धति के ज्ञान से अवगत कराया। पायथागोरस के प्रमेय को भारतीय गणितज्ञ बोधायन ने लगभग 800 ई.पू. पहले ही बता दिया था। हमारे ऋषि-मुनि मूलत: वैज्ञानिक विचारधाराओं के अनुयायी रहे हैं। आर्यभट्ट ने पृथ्वी का व्यास निकाला था, जो लगभग वर्तमान गणना के करीब है।
उन्होंने कहा कि शिक्षा से ज्ञान का ट्रांसफर होता है, अत: शिक्षा जगत को समाज के कई प्रश्नों के समाधान करना चाहिए। उन्होंने कहा कि राष्ट्र के पुनर्निमाण में छोटे-बड़े सभी कार्य महत्वपूर्ण होते हैं, अत: यह प्रयास करें कि कॉलेज से निकलने के बाद युवा बेरोजगार न रहें। उनके श्रेष्ठ नागरिक बनने के लिए सभी आवश्यक उपाय सुनिश्चित किया जाये। बैठक के दौरान संचालक तकनीकी शिक्षा प्रो. वीरेन्द्र कुमार, संस्था के प्राचार्य डॉ. राजीव चांडक सहित संभाग के तकनीकी शिक्षण संस्थानों के प्राचार्य व प्राध्यापक मौजूद थे।
मंत्री परमार ने विद्यावन में किया वृक्षारोपण
मंत्री परमार ने शासकीय इंजीनियरिंग कॉलेज परिसर में स्थित विद्यावन में वृक्षारोपण कर विद्यालय परिसर को हरियाली युक्त बनाने का संदेश दिया। उन्होंने उपस्थित सभी प्राचार्यों और अध्यापकों से भी कहा कि वे अपने-अपने विद्यालय में वृक्षारोपण कर प्रकृति संरक्षण की दिशा में कार्य करें।