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इंदौरः योग शिविर में मां तुझे सलाम.. गीत पर प्रस्तुति दे रहे रिटायर्ड फौजी की हार्ट अटैक से मौत

इंदौर, 31 मई (हि.स)। शहर के फूटी कोठी के पास श्री अग्रसेन धाम सभागृह में आयोजित एक योग शिविर में शुक्रवार सुबह मां तुझे सलाम.. देशभक्ति गीत पर प्रस्तुति देते समय वीर जी के नाम से ख्याति प्राप्त रिटायर्ड फौजी बलविंदर सिंह छाबड़ा की हार्ट अटैक आने से निधन हो गया। वे प्रस्तुति देते समय मंच पर गिर पड़े। उनके हाथ में तिरंगा था तो लोग इसे परफॉर्मेंस का हिस्सा समझकर तालियां बजाते रहे। तिरंगा एक दूसरे शख्स ने उठाया और लहराता रहा।

जब गीत खत्म हुआ, तो लोग छाबड़ा के पास पहुंचे। कुछ सेकंड इंतजार किया, लेकिन जब कोई रिस्पॉन्स नहीं आया तो उन्हें सीपीआर दिया गया। इसके बाद छाबड़ा कुछ देर के लिए उठकर बैठ गए और पूछने लगे कि मुझे क्या हो गया। उन्हें अरिहंत अस्पताल ले जाया गया। वहां ईसीजी हुआ। चेकअप करने के कुछ देर बाद डॉक्टर ने रिटायर्ड फौजी को मृत घोषित कर दिया। डॉक्टरों ने अटैक की आशंका जताई है।

शिविर के आयोजक डॉ. आरके जैन ने बताया कि योग मित्र संस्था के सहयोगी राकेश चौधरी के जरिए रिटायर्ड फौजी बलविंदर सिंह छाबड़ा और उनके साथी 31 मई को पहली बार योग शिविर में आए थे। वे मुख्य रूप से लाफ्टर योग और वेट लॉस का योग कराते हैं। बलविंदर ने सुबह 6.20 बजे प्रस्तुति दी। कहा कि सबसे पहले दो देशभक्ति गीत गाऊंगा और डांस करूंगा। उसके बाद मेरे साथी लाफ्टर का कार्यक्रम आगे बढ़ाएंगे, लेकिन पहली प्रस्तुति के दो मिनट के भीतर ही वे स्टेज पर गिर गए। हमें लगा कि यह प्रस्तुति का हिस्सा है। लेकिन उनकी मौत हो गई।

समाजसेवी मदन परमालिया ने बताया कि बलवीर सिंह छाबड़ा वर्षों से राष्ट्र का प्रतीक तिरंगे झण्डे को साथ लेकर 15 अगस्त, 26 जनवरी और अन्य राष्ट्र त्यौहारों पर शहर के चौराहों पर देश भक्ति का जज्बा जगाने का काम करते थे। वे शुक्रवार को कार्यक्रम में तिरंगे झण्डे को साथ लेकर माँ. तुझे सलाम… गीत पर अपनी प्रस्तुति देते हुए आम लोगों के बीच से मंच पर पहुंचकर झण्डे को संभालते-संभालते खुद को संभाल नहीं पाए और अपने प्राणों को त्याग दिया। ऐसे बलवीर सिंह छाबड़ा वीरजी ने आज हम सबको बिलखता हुआ छोड़ दिया। मैं वहीं मौजूद था, जब यह खबर शहरभर में पहुंची। उनके परिजनों ने उनके पार्थिव शरीर को रिजनल पार्क स्थित मुक्ति धाम पर अंतिम संस्कार किया। अंतिम संस्कार के पश्चात् गुरूग्रंथ साहब की चौपाइयों का वाचन हुआ। बलवीर सिंह छाबड़ा को अनेक संस्थानों ने सम्मानित किया और उनकी अंतिम इच्छा अनुसार उन्हें नेताजी सुभाष मंच द्वारा नेताजी सुभाष अलंकरण 23 जनवरी को सम्मानित कर नवाजा गया था।

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